मुख्यमंत्री जल स्वावलंबन अभियान में सही कार्याें का चयन करेंः नेहरा
बाड़मेर
मुख्यमंत्री जल स्वावलंबन अभियान मंे डीपीआर तैयार करते समय सही कार्याें का चयन करें। कार्याें का चयन करते समय ग्रामीणांे एवं जन प्रतिनिधियांे के सुझाव लेने के साथ उपयोगी कार्याें को प्राथमिकता दी जाए। इस बार फार्म पोंड एवं होर्टीकल्चर सरीखे नवाचार वाले कार्याें को शामिल किया जाए। जिला परिषद के मुख्य कार्यकारी अधिकारी एम.एल.नेहरा ने मंगलवार को जिला परिषद सभागार मंे मुख्यमंत्री जल स्वावलंबन अभियान द्वितीय चरण की ग्राम कार्य योजना तथा परियोजना प्रतिवेदन तैयार करने के लिए आयोजित एक दिवसीय कार्यशाला के दौरान यह बात कही।
इस दौरान मुख्य कार्यकारी अधिकारी एम.एल.नेहरा ने कहा कि डीपीआर मंे मनरेगा के कार्याें को शामिल करते समय श्रमिकांे एवं उनके मानव दिवसांे की उपलब्धता के आधार का ध्यान रखा जाए। उन्हांेने कहा कि ब्लाक स्तर पर पीआईए एवं पंचायतीराज विभाग परस्पर आपसी सहयोग से कार्य करें। अगर किसी तरह की कोई तकनीकी दिक्कत हो तो जिला मुख्यालय स्तर से भी सलाह ली जा सकती है। मुख्य कार्यकारी अधिकारी नेहरा ने कहा कि मुख्यमंत्री जल स्वावलंबन अभियान का द्वितीय चरण 30 जून से प्रारंभ होगा। उन्हांेने एमजेएस एप्प पर फोटो अपलोड करने, प्रगतिरत कार्याें को प्राथमिकता से पूर्ण कराने के निर्देश दिए। इस दौरान अतिरिक्त जिला कार्यक्रम समन्वयक सुरेश कुमार दाधीच ने मुख्यमंत्री जल स्वावलंबन अभियान के तहत मनरेगा योजना से कराए जाने वाले कार्याें के बारे मंे विस्तार से जानकारी दी। उन्हांेने कहा कि टांका, तालाब एवं फार्म पोंड सरीखे जल संग्रहण के कार्य मनरेगा मंे कराए जा सकते है। दाधीच ने कहा कि द्वितीय चरण मंे 24 फीसदी कार्य महात्मा गांधी नरेगा योजनान्तर्गत करवाए जाने है। इस दौरान जलग्रहण विभाग के अधीक्षण अभियंता हीरालाल अहीर ने मुख्यमंत्री जल स्वावलंबन अभियान के द्वितीय चरण की विस्तार से जानकारी दी। उन्हांेने कहा कि सबको टीम भावना से काम करते हुए बाड़मेर जिले के प्रदेश के प्रथम पांच जिलांे मंे शामिल करवाना है। उन्हांेने कहा कि डीपीआर बनाते समय संबंधित तकनीकी कार्मिक विशेष सावधानी बरते। अहीर ने बताया कि मुख्यमंत्री जल स्वावलंबन अभियान के द्वितीय चरण के अधिकाधिक प्रचार-प्रसार के लिए 1 अगस्त से आईईसी गतिविधियां आयोजित होगी। इसके लिए अतिरिक्त मुख्य कार्यकारी अधिकारी गुंजन सोनी को जिला स्तर का प्रभारी बनाया गया है। जबकि ब्लाक स्तर पर संबंधित विकास अधिकारियांे को यह जिम्मेदारी निभानी होगी। कार्यशाला के दौरान मुख्यमंत्री जल स्वावलंबन अभियान की मार्गदर्शिका, ग्राम कार्य योजना एवं परियोजना प्रतिवेदन तैयार करने के बारे मंे विस्तृत जानकारी दी गई। इस दौरान उप वन संरक्षण लक्ष्मणलाल, अधिशाषी अभियंता मोहनलाल मीणा, बाड़मेर पंचायत समिति के विकास अधिकारी नवलाराम चौधरी, इस कार्यशाला मंे जलग्रहण विकास एवं भू-संरक्षण विभाग, जल संसाधन विभाग, वन विभाग, कृषि एवं उद्यानिकी विभाग, महात्मा गांधी नरेगा एवं पंचायतीराज विभाग, जन स्वास्थ्य अभियांत्रिकी विभाग के जिला एवं ब्लाक स्तरीय अधिकारियांे ने भाग लिया।

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