प्रथम स्थान पर रहने वाली झांकी को मिलेगा 3100 रुपये का पुरस्कार
बाड़मेर।
मर्यादा पुरुषोत्तम भगवान श्रीराम के जन्म पर 8 अप्रैल को भव्य श्रीरामनवमी शोभायात्रा का आयोजन किया जाएगा। इसको लेकर शुक्रवार रात स्थानीय शिव कुटिया में श्री रामनवमी महोत्सव समिति की बैठक विश्व हिंदू परिषद के जिला उपाध्यक्ष छत्तुमल तनसुखानी की अध्यक्षता में आयोजित की गई।
समिति के प्रवक्ता भवानी प्रकाश दर्जी ने बताया कि बैठक में आगामी शोभायात्रा को लेकर महत्वपूर्ण जिम्मेदारियों को बांटा गया। इस बार शोभायात्रा में सम्मिलित होने वाली झांकियों में प्रथम स्थान पर रहने वाली झांकी को तीन हजार एक सौ, द्वितीय को दो हजार एक सौ तथा तृतीय स्थान को एक हजार एक सौ रुपये का पुरस्कार दिया जाएगा। वहीं पांच झांकियों को पांच-पांच सौ रुपये नकद दिये जाएंगे। इसके अलावा सभी झांकियों के कलाकारों को सांत्वना पुरस्कार प्रदान किए जाएंगे। बैठक में समिति के उपाध्यक्ष भवानी शंकर राठी, अरुण कुमार रामावत, शोभायात्रा प्रमुख जगदीश खत्री, किशोर भार्गव, सह प्रमुख स्वरुपसिंह भदरु, खेमीचंद सोलंकी, तेजराज कपूरिया आदि उपस्थित थे।
यहां से गुजरेगी शोभायात्रा-
रामनवमी पर सुबह साढ़े नौ बजे हाई स्कूल रोड से शोभायात्रा प्रारंभ होगी। जो किसान छात्रावास, कलेक्टर निवास, राय काॅलोनी रोड, तनसिंह सर्किल, गांधी चैक, स्टेशन रोड, अहिंसा सर्किल, सुभाष चैक, हमीरपुरा रोड, प्रतापजी की प्रोल, पीपली चैक, ईलाजी बाजार होती हुई श्रीराम प्रकटोत्सव की मनोरम वेला में सदर बाजार स्थित वीर बालाजी हनुमान मंदिर पहुंचेगी। इस बार शोभायात्रा में शामिल होने वाली सभी महिलाओं और बालिकाओं को कलश व नारियल निशुल्क दिया जाएगा।
झांकियां होगी आकर्षण का केंद्र-
शोभायात्रा में झांकी सम्मिलित करने के लिए कई समाज, संस्था, विद्यालयों आदि ने स्वीकृति दी हैं। इनमें श्री सैन समाज, श्रीकृष्ण कन्हैया सेवा समिति, गुर्जर गौड़ समाज, पाश्र्व जैन मंडल, जोगी समाज की भजन मंडली, महाराजा पब्लिक स्कूल, भृगुवंशीय देशांतरी समाज, दिव्य ज्योति स्कूल, राजपुरोहित समाज, माली समाज, खटीक समाज, जटिया समाज, श्रीमाली समाज, श्री पीपा क्षत्रिय दर्जी समाज, आदर्श विद्या मंदिर, जाट समाज, चारण समाज, जांगिड़ समाज, राजपूत समाज, संत आसाराम आश्रम, माहेश्वरी पंचायत, पूज्य सिंधी पंचायत, बिश्नोई समाज, ढाट माहेश्वरी समाज, ब्राह्मण स्वर्णकार समाज, राईका समाज, पुष्करणा समाज, आदि गौड़ समाज, जीनगर समाज, हिंदू लखारा समाज, रावणा राजपूत समाज आदि ने स्वीकृति दी है।
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