मां दुर्गा की आराधना का पर्व आज सेमां दुर्गा की आराधना का पर्व आज से
जयपुर।
देवी शक्ति की आराधना का पर्व नवरात्र चैत्र शुक्ल प्रतिपदा सोमवार से शुरू होंगे। इस मौके पर माता के मंदिरों में जहां घट स्थापना होगी, वहीं घर-घर भी शुभ मुहूर्त में घट स्थापना कर भक्त नवरात्र व्रत का संकल्प लेंगे। मां दुर्गा से सुख-समृद्धि की कामना करेंगे। नौ दिन तक मंदिरों के साथ-साथ घरों में भी दुर्गासप्तशती, दुर्गा चालीसा, रामचरित मानस के नवाह्नपरायण के पाठ होंगे। 31 मार्च से 8 अप्रेल तक शहर में भक्ति की बयार बहेगी। 

आमेर शिला माता मंदिर में सुबह घट स्थापना के बाद 8 बजे भक्तों के लिए मंदिर खुलेगा। पुजारी बनवारीलाल ने बताया कि एक से 9 अप्रेल तक प्रतिदिन मंदिर सुबह 6 से दोपहर 12.30 बजे तक तथा शाम 4 से रात 8.30 बजे तक भक्तों के लिए खुला रहेगा। नवरात्र उत्थापन 9 अप्रेल को सुबह 10.30 होगा। श्री दुर्गा माता ट्रस्ट की ओर से दुर्गापुरा स्थित दुर्गा माता काल मंदिर में सुबह 6.23 बजे घट स्थापना की जाएगी। महंत महेन्द्र भट्टाचार्य ने बताया कि घट स्थापना के साथ ही अखंड ज्योत भी प्रज्ज्वलित की जाएगी। 

आमेर घाटी स्थित मनसा माता मंदिर में सुबह 6.35 बजे घट स्थापना होगी। महंत रोहिताश्व भट्टाचार्य ने बताया कि मंदिर प्रतिदिन सुबह 6.30 बजे से दोपहर 12.30 बजे तक और शाम 4 से रात 8.30 बजे तक भक्तों के लिए खुला रहेगा। राजापार्क पंचवटी सर्किल स्थित वैष्णो माता मंदिर में घट स्थापना सुबह 6 बजे होगी। सुबह 8 बजे भोग लगेगा तथा 8.30 बजे महाआरती होगी। 

बड़ी चौपड़ लक्ष्मीनारायण बाईजी मंदिर स्थित भुवनेश्वरी साधना केंद्र में महंत पुरूषोत्तम भारती के सान्निध्य में सुबह 8 बजे घट स्थापना होगी। ज्योतिषविदों के मुताबिक इस बार नवरात्र के नौ दिनों में से सात दिनों तक योग व संयोग की भरमार रहेगी। वहीं, सोमवार से नवरात्र शुरू होना श्रेष व समृद्धिकारक भी रहेगा। 

यातायात व्यवस्था

आमेर शिला माता मंदिर में सोमवार से नवरात्र पर 31 मार्च से 8 अप्रेल तक जयपुर से दिल्ली आने जाने वाले वाहन चालकों के लिए यातायात की विशेष व्यवस्था रहेगी। 
जयपुर से दिल्ली की तरफ जाने व आने वाले वाहन चालक रामगढ़ मोड़ से धोबी घाट, बंध की घाटी, सड़वा मोड़, कुंडा होते हुए आ जा सकेंगे।
शिला माता मंदिर जाने वाले वाहन चालकों को परियों के बाग के पास रोक दिया जाएगा। लोग पैदल आ जा सकेंगे।

सात दिन रहेंगे विशेष योग 

ज्योतिषाचार्य शशिप्रकाश शर्मा व राजकुमार चतुर्वेदी के अनुसार नवरात्र के नौ में से सात दिनों रहने वाले सुयोग में कोई भी शुभकार्य आरम्भ करना और वाहन, स्वर्ण आभूषण, प्रॉपर्टी का लेन-देन श्रेष रहेगा। यह समय लोगों के लिए उन्नतिदायक व व्यापारिक लाभ देने वाला होगा। 

किस-दिन कौनसा संयोग 

31 मार्च- व्यापारिक ग्रह बुध के नक्षत्र रेवती - सूर्योदय से रात तक 
1 अप्रेल- अमृत सर्वार्थसिद्धि व राजयोग - सुबह 6.22 से रात 11.56 बजे तक 
2 अप्रेल- राजयोग- सुबह सूर्योदय 6.21 से रात 8.33 बजे तक
3 अप्रेल- रवियोग- सूर्योदय 6.20 से रात 12.56 बजे तक 
4 अप्रेल- कुमारयोग -सूर्योदय 6.19 से रात 2.28 बजे तक 
5 अप्रेल- द्विपुष्करयोग व रवियोग- सूर्योदय से रात 4.37 तक 
8 अप्रेल- रामनवमी पर रवियोग- सुबह 10.04 बजे से पूरे दिन और रात (स्वयंसिद्ध मुहूर्त)

भारतीय नववर्ष संवत् 2071 और चैत्र नवरात्र सोमवार से शुरू होगा।
घट स्थापना मुहूर्त
प्रात: 6:23 से 7:04 बजे द्विस्वभाव लग्न सर्वश्रेष
अभिजीत मुहूर्त
दोपहर 12:07 से 12:56 तक
अमृत और शुभ चौघडिया
सुबह 6:23 से 7:55 तक अमृत
सुबह 9:27 से 10:59 तक शुभ

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