"चलें साथ-साथ": मोदी-ओबामा ने लिए तरक्की के 10 वचन
वाशिंगटन।
दुनिया का सबसे बड़ा लोकतंत्र भारत और सबसे पुराना लोकतंत्र अमेरिका केवल स्वयं के लिए ही नहीं बल्कि पूरी दुनिया को लाभ पहुंचाने के उद्देश्य से मिलकर काम करेंगे।
भारत और अमेरिका की रणनीतिक साझेदारी पर जारी दृष्टि पत्र में कहा गया है कि दोनों देश के इतिहास अलग-अलग हैं लेकिन दोनों देशों के संस्थापकों ने अपने नागरिकों को स्वतंत्रता की गारंटी दी ताकि वे अपनी आकांक्षाओं के अनुरूप अपनी तकदीर खुद लिख सकें। नागरिकों को लोकतंत्र और स्वतंत्रता के माध्यम से समान अवसर उपलब्ध कराना हमारा उद्देश्य है।
इस दृष्टि पत्र में दोनों देशों ने भारत और अमेरिका के साथ-साथ दुनिया की तरक्की के लिए 10 वचन लिए हैं।
1-पत्र में कहा गया है कि मौजूदा नातेदारी एवं व्यापार, वाणिज्य, दक्षता और विज्ञान दोनों देशों को आपस में जोड़ता है, जो हमें आपसी मतभेदों से ऊपर उठाता है। हमारा पारस्परिक सहयोग द्विपक्षीय संबंधों को सुदृढ़ करता है।
भारत और अमेरिका की रणनीति साझेदारी गहन विचार-विमर्श, संयुक्त अभ्यास और तकनीकों के आदान-प्रदान के जरिए दोनों देशों में शांति और समृद्धि स्थापित करने की दिशा में संयुक्त प्रयास है। पारस्परिक सुरक्षा सहयोग दुनिया को सुरक्षित बनाने में मदद करेगा।
2- हमलोग आतंकवाद के खिलाफ साथ मिलकर लडेंगे, जिससे देश और नागरिकों को उनके हमले से बचाया जा सके। हमलोग दुनिया को हथियार मुक्त बनाने और अन्य देशों के साथ बिना भेदभाव किए परमाणु हथियारों को कम करने के लिए प्रतिबद्ध हैं।
3- दृष्टि पत्र में कहा गया है कि दोनों देश नियम-कानून आधारित विश्व व्यवस्था बनाने के साथ ही संयुक्त राष्ट्र सुरक्षा परिषद् में सुधार के लिए सहयोग करेंगे, जिसमें भारत बड़ी भूमिका निभाने के लिए तैयार है। संयुक्त राष्ट्र के बाहर भी भारत-अमेरिका पारस्परिक सहयोग करेंगे।
4- जलवायु परिवर्तन को लेकर दोनों देश चिंतित है और इसके प्रभाव को कम करने के लिए मिलकर काम करेंगे। हमलोग आपसी सहयोग से प्रदूषण को कम क रने की दिशा में भी काम करेंगे।
5- दोनों देश नागरिकों के लिए ऊर्जा के शुद्ध, विश्वसनीय और अन्य विभिन्न स्त्रोंतों के इस्तेमाल साथ ही अमेरिकी परमाणु बिजली तकनीक को भारत में लाने के लिए सहयोग करेंगे।
6- दृष्टि पत्र में आगे कहा गया कि दोनों देश यह सुनिश्चित करेंगे की उनकी आर्थिक प्रगति लोगों का जीवन स्तर सुधारने में मददगार बने, जिससे सबका कल्याण हो। हमारे नागरिक बेहतर जीवन के लिए शिक्षा को बड़ी अहमियत देते हैं ऎसे में दोनों देशों के बीच कौशल और ज्ञान का आदान प्रदान भारत और अमेरिका को आगे ले जाने में काफी मददगार साबित होगा।
7- दोनों देशों ने कहा कि जीवन स्तर को बदलने में सक्षम सूक्ष्म कणों से लेकर अंतरिक्ष तक के क्षेत्र में अनुसंधान कार्यो में सहयोग से नवाचार और उच्च प्रौद्योगिकी के लिए बड़े पैमाने पर रास्ते खुलेंगे।
8- संक्रामक बीमारियों से लड़ने तथा प्रसव के दौरान महिलाओं और बच्चों की मृत्यु दर घटाने तथा गरीबी उन्मूलन के लिए समन्वित प्रयास से हमारे लोग एक स्वस्थ्य जीवन जी सकेंगे।
9- घोषणा पत्र में कहा गया कि भारत और अमेरिका आर्थिक तथा व्यापारिक क्षेत्र में सहयोग तथा दोनों देशों की लोकतांत्रिक व्यवस्थाओं की मूलभूत क्षमताओं के जरिए रणनीतिक साझेदारी के लिए प्रतिबद्ध हैं। दोनों ऎसे विश्वसनीय और दीर्घकालिक दोस्ताना संबंध बनाने के इच्छुक है जो सुरक्षा और स्थायित्व को मजबूती दे सके, वैश्विक अर्थव्यवस्था में योगदान कर सके और अपने देश के नागरिकों की तरक्की सुनिश्चित करने के साथ ही पूरे विश्व में शांति स्थापित करने में मददगार हो।
10- आगे कहा गया कि 21 वीं सदी में भारत और अमेरिका के परस्पर भरोसेमंद सहयोगी बनने के लिए भविष्य के वास्ते वृहत सोच है। हमारी साझेदारी पूरे विश्व के लिए एक उदाहरण पेश करेगी।
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