राजस्थानी भाषा को संवेधानिक दर्ज मिलने तक लडाई लड़ेंगे ..बारहट 

बाड़मेर 
अखिल भारतीय राजस्थानी भाषा मान्यता संघर्ष समिति तथा राजस्थानी भाषा साहित्य एवं संस्कृति विकास संस्थान की और से आठ जून को होने वाले राजस्थानी भाषा साहित्य एवं संस्कृति महोत्सव के पोस्टर का विमोचन गुरूवार को अखिल भारतीय राजस्थानी भाषा मान्यता संघर्ष समिति के प्रदेश महामंत्री राजेंद्र सिंह बारहट के मुख्य आतिथ्य ,राजस्थानी साहित्यकार दलपत सिंह ,की अध्यक्षता और संभाग उप पाटवी चन्दन सिंह भाटी के विशिष्ठ आतिथ्य में डाक बंगलो में किया गया .इस अवसर पर समिति के पाटवी रिडमल सिंह दांता उपाध्यक्ष इन्दर प्रकाश पुरोहित ,डॉ लक्ष्मी नारायण जोशी ,जैसलमेर समिति के मंत्री सिकंदर शेख ,बालोतरा पाटवी भीखदान चारण , मोटियार परिषद् के हिन्दू सिंह तामलोर ,अशरफ अली ,जिला प्रवक्ता रमेश सिंह इन्दा ,सवाई चावड़ा ,अशोक सिंह राजपुरोहित ,सहित कई पदाधिकारी और कार्यकर्ता उपस्थित थे .इस अवसर पर महामंत्री राजेंद्र सिंह बारहट ने कहा की राजस्थानी भाषा की संवेधानी मान्यता के लिए अब आर पार की लड़ाई होगी ,उन्होंने कहा की सम्मलेन का मुख्य उद्देश्य आम जन को राजस्थानी भाषा के अभियान से जोड़ना हें .उन्होंने कहा की इस चुनावी साल में राजस्थानी भाषा प्रेमी मान्यता के लिए अनुनय विनय नहीं करेंगे ,भाषा का हमारा अधिकार हें वो अब छीनकर लेंगे .इस अवसर पर दलपत सिंह चारण ने कहा की राजस्थानी भाषा को संवेधानिक मान्यता का प्रस्ताव केंद्र सरकार को भेजे कई अरसा हो गया .राजनेताओ की इच्छा शक्ति के अभाव में राजस्थानी भाषा मान्यता में पिछड़ गई .इस अवसर पर राजस्थानी नेता चन्दन सिंह भाटी ने कहा की राजनितिक लोगो को सबक सिखाया जाएगा ,जो राजस्थानी भाषा की बात करेगा उसी का समर्थन किया जाएगा ,उन्होंने कहा की अपनी मायद भाषा की मान्यता के लिए कई दशको तक किसी को आन्दोलन नहीं करना पडा .उन्होंने कहा की जरुरत पडी तो राजस्थानी भाषा जागरूकता रथ यात्रा भी निकालेंगे .इस अवसर पर डॉ लक्ष्मी नारायण जोशी ,इंद्र प्रकाश पुरोहित ,रिडमल सिंह दांता ने भी अपनी बात रखी .समिति ने बाड़मेर के बुद्धिजीवियों से इस सम्मलेन में अधिक से अधिक संख्या में पहुँचाने का आह्वान किया हें .

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