जोधपुर में पकड़ा गया फरार कैदी कंवरराम 
बाड़मेर। 
पेशी के बाद एक फरवरी को न्यायालय परिसर से फरार हुआ हत्या का आरोपित कंवराराम पुलिस से बचने के लिए भागता हुआ मध्यप्रदेश पहुंच गया। सोमवार अलसुबह पुलिस के हाथ लगे खुद कंवरा ने ही यह बात बताई। सोमवार को ही पुलिस ने कंवरा को भगाने में मदद करने के दूसरे आरोपित को गिरफ्तार करने में सफलता हासिल की।
अतिरिक्त पुलिस अधीक्षक रघुनाथ गर्ग ने बताया कि प्रारंभिक पूछताछ में कंवराराम ने पुलिस को बताया कि फरार होने के बाद एक फरवरी की रात रामसर क्षेत्र में पहाडियों में छिप गया। इस दौरान भगाने में मदद करने वाला खरथाराम उसके साथ रहा। अगले दिन सुबह वे जालौर की तरफ निकल गए। पुलिस की गिरफ्त से बचने के लिए वे निरंतर स्थान बदलते रहे और अवैध कारोबार करने वाले साथियों के यहां पहुंचते रहे।
पिछले दस दिन में वह चितौड़गढ़, प्रतापगढ़ होते हुए मंदसौर (मध्यप्रदेश) पहुंचे। वहां से वापस बायतु आ गए। कंवरा ने बताया कि बायतु से उसने एक वाहन किराए पर लिया और जोधपुर के लिए निकल पड़ा। बीच रास्ते में वाहन चालक को यह पता चला कि वह जेल से फरार है। इसलिए उसे पचपदरा में उतार दिया। फिर वह बस में बैठकर जोधपुर चला गया। 

जेल में बनाई योजना

पूछताछ में कंवराराम ने बताया कि जेल में खरथाराम के साथ मिलकर उसने फरार होने की योजना बनाई। करीब एक माह पहले खरथाराम पुत्र हरिसिंह निवासी माडपुरा बरवाला को पुलिस ने वाहन चोरी व आम्र्स एक्ट के तहत गिरफ्तार किया था। उसे न्यायिक अभिरक्षा में भेजा गया था। जेल में खरथाराम व कंवराराम की मुलाकात हुई। जेल में साथ रहने के दौरान खरथाराम ने कंवरा को भगाने का जिम्मा लिया। जेल से छूटने के बाद खरथा भुरटिया निवासी गोरधनराम से सम्पर्क किया और उसे भी अपने साथ लिया। एक फरवरी को पेशी के बाद इन दोनों के सहयोग कंवराराम भाग गया। 

पकड़ा गया खरथाराम

शहर कोतवाल कैलाशचंद्र मीणा ने बताया कि सोमवार को खरथाराम धोरीमन्ना की तरफ से बाड़मेर आ रहा था। महाबार की सरहद में पुलिस टीम ने उसे गिरफ्तार किया। उसे मंगलवार को न्यायालय में पेश किया जाएगा। खरथाराम के खिलाफ वाहन चोरी, हथियार तस्करी सहित पांच मामले न्यायालय में विचाराधीन है। मीणा ने बताया कि हत्या का आरोपित कंवराराम व उसे भगाने में मदद करने के आरोपित गोरधनराम व खरथाराम तीनों ही पुलिस गिरफ्त में है। तीनों से गहनता से पूछताछ की जा रही है।

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