गर्मी के साथ ही गहराया जल संकट
पचिमी राजस्थान के बाड़मेर जिले में गर्मी की दस्तक के साथ ही जलदाय विभाग की जलप्रदाय योजनाएं लड़खड़ा गई है। ग्रामीण इलाकों में अनियमित जलापूर्ति के कारण ग्रामीणों को पेयजल संकट से जूझना पड़ रहा है। संसाधनों व कार्मिको की कमी जल वितरण व्यवस्था के ढांचे को सुचारू बनाए रखने में अड़चन बनती जा रही है।गर्मी की शुरूआत के साथ ही बाड़मेर जिले में पेयजल का संकट गहराने लगा है। गांव-गांव से पानी को लेकर हाय तौबा मचने लगी है। जलदाय विभाग की तमाम कोशिशों के बाद भी पटरी से उतरी जलप्रदाय योजनाएं सुचारू नहीं हो रही। हौदियों तक नियमित रूप से पानी नहीं पहुंचने से लोगों को दैनिक जरूरतें योग्य पानी नहीं मिल रहा है। पशु मवेशियों के लिए पानी का संकट और ज्यादा है। बाड़मेर के उण्डू नवातला जलप्रदाय योजना भी चरमरा गई है। बाड़मेर जिले के शिवकर, जसाई, महाबार, खुडासा, गरल, व् बालोतरा उपखड के  गोपड़ी, रिछोली, पाटोदी, नवातला, बड़नावा, चिलानाड़ी, साजियाली, रूपजी राजाबेरी, कालेवा, सांभरा, दूदवा, आकड़ली, खेड़, तिलवाड़ा आदि गांवों मे गर्मी के साथ ही पेयजल समस्या गहराने लगी है। जन प्रतिनिघियों व ग्रामीणों द्वारा समस्या को लेकर लगातार मांग की जा रही है, लेकिन अघिकारियों के सामने जलापूर्ति व्यवस्था को सुचारू रखने में कार्मिकों व संसाधनों की कमी अड़चन बन रही है।
शहरी क्षेत्र में भी समस्या
पानी की समस्या शहरी इलाके में भी कम नहीं है। बाड़मेर  व् बालोतरा  के विभिन्न वार्डो में पानी को लेकर समस्या दिनों दिन बढ़ रही है। कम दबाव से जलापूर्ति के कारण जलापूर्ति के दौरान लोगों को दैनिक जरूरतों योग्य पानी भी पूरा नहीं मिल पाता। मजबूरन बूस्टर लगाने पड़ रहे हैं। 
शहर में तो एक सप्तह में एक बार पानी की आपूर्ति हो पाती है और शहर के लोगो को मजबूरन टेकरो से पानी डलवाना पड़ रहा है गर्मी शरू होने पर ऐसी  दशा है तो जब गर्मी की सीजन में लोगो का क्या हाल होगा ये सोचनीय बिदु है .....   

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